लखनऊ। अगर आप नवाबों के शहर में घर, फ्लैट या प्लॉट लेने की सोच रहे हैं तो जल्द ही आपकी जेब पर और ज्यादा बोझ पड़ने वाला है। लखनऊ विकास प्राधिकरण (LDA) ने करीब 10 साल बाद नए डीएम सर्किल रेट जारी किए हैं। ये दरें 1 अगस्त से लागू होंगी।
अपर जिलाधिकारी (वित्त एवं राजस्व) राकेश कुमार सिंह के मुताबिक, इन नई दरों पर 2 जुलाई से 17 जुलाई तक आपत्तियां और सुझाव मांगे गए हैं। इसके बाद अंतिम मुहर लगेगी।
क्या होता है सर्किल रेट?
सर्किल रेट वह न्यूनतम सरकारी दर होती है, जिस पर किसी भी जमीन, मकान या दुकान की रजिस्ट्री की जा सकती है। इसी दर के आधार पर स्टाम्प ड्यूटी और रजिस्ट्रेशन फीस तय होती है। इसका मकसद प्रॉपर्टी के लेनदेन में पारदर्शिता लाना और टैक्स चोरी रोकना है।
कितनी बढ़ोतरी?
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कृषि भूमि पर: 15% तक बढ़ोतरी
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व्यावसायिक भूमि पर: 25% तक बढ़ोतरी
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बहुमंजिला इमारतों पर: 20% तक बढ़ोतरी
कहां सबसे ज्यादा बढ़ेगा रेट?
नए सर्किल रेट के हिसाब से गोमती नगर सबसे महंगा इलाका बना रहेगा। यहां जमीन का रेट सबसे ज्यादा बढ़ाया गया है। इसके बाद महानगर और इंदिरा नगर का नंबर आता है।
लखनऊ की 26 प्रमुख कॉलोनियों में 25% तक रेट बढ़ाए गए हैं। कुछ कॉलोनियों में रेट कम बढ़े हैं, जैसे अनंत नगर योजना में दर 15-18 हजार और संतुष्टि एनक्लेव में सिर्फ 7-10 हजार की बढ़ोतरी की गई है।
ग्रामीण इलाकों में भी राहत नहीं है। मोहनलालगंज और सरोजनीनगर जैसे इलाकों में नई लग्जरी टाउनशिप बनने से वहां के रेट में 40% तक की बढ़ोतरी प्रस्तावित है।
कॉमर्शियल जमीन होगी और महंगी
अगर आप व्यावसायिक जमीन खरीदना चाहते हैं तो आपको अकृषक दर पर 50% ज्यादा भुगतान करना पड़ेगा। वहीं, जिन आवासीय इलाकों में कॉमर्शियल गतिविधियां हो रही हैं, वहां रेट 20% तक बढ़ सकते हैं।
बड़े प्रोजेक्ट भी नहीं बचे
अंसल और एमार जैसे बड़े प्रोजेक्ट में पहले सर्किल रेट करीब 18 हजार रुपए था, जिसे अब बढ़ाकर 50 हजार रुपए तक कर दिया गया है। वजह ये कि यहां महंगी दरों पर जमीन और फ्लैट बिक रहे हैं।
अंतिम फैसला जल्द
नए सर्किल रेट पर जनता की आपत्तियां लेने के बाद 1 अगस्त से लागू कर दिया जाएगा। ऐसे में अगर आप लखनऊ में घर या प्लॉट खरीदने की सोच रहे हैं, तो जल्द फैसला लेना ही आपके लिए फायदेमंद हो सकता है।